जैन धर्म | तथ्य जो प्रतियोगी परीक्षाओं में पूछे जाते हैं !

जैन धर्म | तथ्य जो प्रतियोगी परीक्षाओं में पूछे जाते हैं !

जैन धर्म छठवीं शताब्दी में उदित हुए उन 62 नवीन धार्मिक संप्रदायों में से एक था। परंतु अंत में जैन धर्म एवं बौद्ध धर्म ही प्रसिद्ध हुए। छठी शताब्दी ई०पू० में भारत में उदित हुए प्रमुख धार्मिक संप्रदाय निम्न थे –  जैन धर्म [(वर्धमान महावीर (वास्तविक संस्थापक)]  बौद्ध धर्म (गौतम बुद्ध) आजीवक सम्प्रदाय (मक्खलि गोशाल) अनिश्चयवाद (संजय वेट्टलिपुत्र) भौतिकवाद (पकुध कच्चायन) यदृच्छवाद (आचार्य अजाति केशकम्बलीन) घोर अक्रियावादी (पूरन कश्यप) सनक संप्रदाय (द्वैताद्वैत) (निम्बार्क) रुद्र संप्रदाय (शुद्धाद्वैत) (विष्णुस्वामी वल्लभाचार्य) ब्रह्म संप्रदाय (द्वैत) (आनंद तीर्थ) वैष्णव सम्प्रदाय (विशिष्टाद्वैत) (रामानुज) रामभक्त सम्प्रदाय (रामानंद) परमार्थ सम्प्रदाय (रामदास) श्री वैष्णव सम्प्रदाय (रामानुज) बरकरी संप्रदाय (नामदेव)  वर्धमान महावीर : एक संक्षिप्त परिचय जन्म–कुंडय़ाम (वैशाली) जन्म का वर्ष–540 ई०पू० पिता–सिद्धार्थ (ज्ञातृक क्षत्रिय कुल) माता–त्रिशला (लिच्छवी शासक चेटक की बहन) पत्नी–यशोदा,  पुत्री–अनोज्जा प्रियदर्शिनी भाई–नंदि वर्धन,  गृहत्याग–30 वर्ष की आयु में ( भाई की अनुमति से) तपकाल–12 वर्ष तपस्थल–जम्बीग्राम (ऋजुपालिका नदी के किनारे) में एक साल वृक्ष कैवल्य–ज्ञान की प्राप्त 42 वर्ष की अवस्था में निर्वाण–468 ई०पू० में 72 वर्ष की आयु में पावा में धर्मोपदेश देने की अवधि–12 वर्ष  जैन धर्म (JAINISM)  जैन धर्म के संस्थापक इसके प्रथम तीर्थंकर ऋषभदेव थे। […]

जैन धर्म | तथ्य जो प्रतियोगी परीक्षाओं में पूछे जाते हैं ! Read More »